जिला; रायपुर ।
राज्य: छत्तीसगढ़ ।
विषय: मौसम ।
शीर्षक: मौसम ।
विधा: छंद-मुक्त कविता ।
संपर्क: 6264189643 ।
दिनांक: 03/9/24,मंगलवार ।
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मौसम
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सूरज,चाँद और सितारे--
हैं ये जगत के रखवाले,
सुबह-शाम,रात के पहरेदार ।
हर मौसम की कहानी तुमसे--
तुम रूठो तो कयामत आये,
तुम हँसे तो बहार छाये ।
ये कैसा नजारा है प्रकृति का--
कहीं धूप तो, कहीं छाँव है,
कहीं गर्मी तो,कहीं पानी की फुहार है।
प्रकृति को समझने वाले--
मौसम के रूख को पहचानते,
दिन व रात के हिसाब को जानते ।
खगोलीय घटना के पारखी--
बखूबी मौसम का मिज़ाज जानते,
हर पल का हिसाब लिखकर बताये ।
काश मौसम एक सा होता--
जीवों-वनस्पति का जीवन भी,
उसी तरह उनका बसेरा होता ।
मौसम के बदलते मिज़ाज पर ---
रचनाकार,शायर,गज़लकार,गीतकारों,
ने,कितनी नजाकत से रचना की है ।
मौसम का बदलाव भी--
किसानों में खुशियों से भरा पैगाम है,
भरपूर फसल होगी अंदाजा हैं लगाते।
मानव का जीवन भी एक--
मौसम की तरह बदलते रहते,
कभी खुशी तो, कभी गम भी होते ।
मौसम ही प्रकृति का अनुपम उपहार-
कभी गर्मी,कभी बरसात और ठण्ड,
तीनों मौसम धरा के बदलते हैं रंग ।
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मौलिक रचना,बोरियकला,रायपुर ।
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